Akshat Pathak“दूर पहले पास कहीं ’’“दूर पहले,पास कहीं “ प्रयास है एक बूढ़े किसान की कहानी कहने का जो अपने पोते के साथ रहता है और साथ रहती है कोई धुँधली सी उमीद।Jan 23, 2019Jan 23, 2019
Akshat Pathak“रह रह कर घर लौटना”रोज़ की एक यात्रा के बाद किसी के कहीं ,वापस लौटने का भाव है इस फ़ोटोग्राफ़ में,Jul 3, 2018Jul 3, 2018
Akshat PathakThe garden of griefThe mellow yellow plants emerged from the seeds of sadness and became taller than me in no time.Sep 27, 2017Sep 27, 2017