Resonating Wordsनमन तुम्हें..मस्तक ऊँचा वतन का रखने काटी कितनी आँखों में रातें झेली हंसकर कितनी आफत सरहदों की करने हिफाज़त ताज भारती माँ का बचाने अपनी माँ को तन्हा कर…Aug 23, 2022Aug 23, 2022
Resonating Wordsबचपन के दिन ************"कश्तियां तैराते, छींटे उड़ाते, वो बचपन के दिन, जो फिर लौट आते। बारिशों को,ख्वाहिशों को, वैसी ही बेफिक्री से, हम फिर से जी पाते। फिर कागज की…Jul 30, 2022Jul 30, 2022
Resonating Wordsअनूठी इक मिसाल बनी हैं सच आप बेमिसाल निधि हैं तपकर संघर्षों की आंच पर दृढ़निश्चयी होती गयीं हैं…-रश्मि सिंह 30.07.2022Jul 30, 2022Jul 30, 2022
Resonating Wordsबचपन जो खो गयाजूठे बर्तनों को घिस-घिस नन्ही हथेलियाँ पथराई हैं आंतें भूखी नयन सजल हैं कैसी मजबूरी यहाँ लाई है..... माँ का तो बस इक सपना था पढ़े लिखेगा…May 1, 2022May 1, 2022
Resonating Wordsमैं मजदूर.....मैं मजदूर शहर बसाने वाला मैं मजदूर शहर सजाने वाला तुम्हारे घर रहें रोगमुक्त मैं मजदूर गंदगी उठाने वाला.....May 1, 2022May 1, 2022
Resonating Wordsमेरी कविता......मेरी कविता !!!!!! छंदों-बंधों मे बंध , राग विराग नहीं रच पाती। षोडसी का सौंदर्य नख-शिख, वर्णित कहाँ कर पाती। कुछ देख अनपेक्षित, जब कुंठित…Mar 24, 2022Mar 24, 2022
Resonating Wordsजड़हाँ जड़ हूँ मैं...... तभी तो तुम्हारी, हर तोहमतें सर माथे ले, तुम्हारी टहनियां, सींचती रहती हूँ, अपनी स्वेद धार से। गलाकर हड्डियां,उर्वर…Nov 21, 2021Nov 21, 2021
Resonating Wordsबड़े ही हर्ष और उत्सव जैसे वातावरण में आज के समारोह के समापन का समय आ गया है। मैं रश्मि सिंह सचिव…Nov 19, 2021Nov 19, 2021